किसानों संग मंत्रियों की बैठक बेनतीजा, चाय के बदले जलेबी का ऑफर

न्यूज डेस्क: केंद्र सरकार के नए कृषि कानूनों के विरोध में दिल्ली में जमे किसानों और सरकार के तीन मंत्रियों के बीच करीब साढ़े तीन घंटे तक बातचीत का कोई नतीजा नहीं निकल पाया. हालांकि दोनों पक्षों के बीच खुशनुमा माहौल रहा. कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने जब किसानों के प्रतिनिधियों को चाय ऑफर किया तो उन्होंने कहा कि हमारे यहां आकर जलेबी और लंगर चखिये. मंगलवार को विज्ञानभवन में कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर सहित तीन मंत्रियों और किसान संगठनों के 30 से अधिक प्रतिनिधियों में मंथन के बाद केवल इतना तय हो पया है कि 3 दिसंबर को दोनों पक्षों में फिर बातचीत होगी. किसान नेताओं ने यह भी साफ कर दिया है कि धरना प्रदर्शन जारी रहेगा. सरकार ने किसानों द्वारा उठाए गए मुद्दों पर गौर करने के लिए एक समिति गठित करने की पेशकश की है.

सूत्रों ने कहा कि किसान प्रतिनिधियों के साथ सरकार की तरफ से रखे गए इस प्रस्ताव का जवाब किसान संगठनों के प्रतिनिधियों की ओर से नहीं आया है. लेकिन वे सभी किसान प्रतिनिधि नए तीनों कृषि कानूनों को निरस्त किए जाने की मांग को लेकर एकमत हैं. किसान प्रतिनिधियों की राय में ये कानून कृषक समुदाय के हित के खिलाफ हैं.

किसान संगठनों के साथ बैठक के बाद कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि बैठक अच्छी रही और हमने फैसला लिया है कि फिर से 3 दिसंबर को बातचीत होगी. उन्होंने कहा, ”हम चाहते थे कि एक छोटा सा समूह बनाया जाए, लेकिन किसान नेता चाहते हैं कि सभी से बातचीत हो. हमें इससे कोई समस्या नहीं है.” बीकेयू (एकता उगराहां) अध्यक्ष जोगिंद्र सिंह उगराहां ने कहा कि सरकार की प्रदर्शनकारी किसान संगठनों के साथ बातचीत बेनतीजा रही है.

केंद्रीय मंत्रियों और 30 से अधिक किसान संगठनों के प्रतिनिधियों के बीच बैठक के बीच सरकार ने विश्वास जताया कि वह आंदोलनकारी किसानों द्वारा उठाये गये मुद्दों पर विचार-विमर्श करने के बाद किसी समाधान पर पहुंचेगी. विज्ञान भवन में बैठक के लिए केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर के साथ रेल और वाणिज्य व उद्योग मंत्री पीयूष गोयल और वाणिज्य राज्यमंत्री सोम प्रकाश मौजूद थे. बैठक से कुछ घंटे पहले केंद्रीय मंत्री राजनाथ सिंह, अमित शाह, नरेन्द्र सिंह तोमर और पीयूष गोयल और भाजपा अध्यक्ष जे पी नड्डा ने केंद्र के नए कृषि सुधार कानूनों के खिलाफ किसानों के विरोध प्रदर्शन पर लंबी चर्चा की.

मंत्री ने चाय ऑफर किया तो किसानों ने कहा जलेबी खाने आइये

एमएसपी पर प्रजेंटेशन के बाद मंत्रियों ने बैठक में टी-ब्रेक लिया और किसान नेताओं को चाय ऑफर की. इस दौरान एक किसान ने खड़े होकर कहा कि बॉर्डर पर आकर जलेबी और लंगर में शामिल होइए. किसानों ने सरकार के चाय के ऑफर को ठुकरा दिया. बताया जा रहा है कि सरकार ने किसान नेताओं को कमेटी बनाने का प्रस्ताव दिया है, जो मौजूदा कानून की समीक्षा करेगी. अब किसान नेताओं को इस पर फैसला करना है.